Home2011March (Page 22)

“Vaisampayana said, “On hearing these words of the Brahmana, his wifesaid, ‘Thou shouldst not, O Brahmana, grieve like an ordinary man. Nor isthis the time for mourning. Thou hast learning; thou knowest that all menare sure to die; none should grieve for that which is inevitable. Wife,son, and daughter, all these are sought for one’s own self.

कौरव और पांडव राजकुमारों ने शस्त्र विद्या तो सीख ही ली थी, शास्त्रों का ज्ञान भी प्राप्त कर लिया था| वे सब वयस्क हो गए थे, जनता में अपना वर्चस्व स्थापित करने लगे थे| कौरव और पांडव दोनों हस्तिनापुर के विशाल साम्राज्य के दावेदार थे|

एक गाँव में दो बिल्लियाँ रहती थीं| वे आपस में मेल से रहती थीं| उन्हें जो कुछ मिलता था, उसे आपस में बाँटकर खाया करती थीं| एक दिन उन्हें एक रोटी मिली| उसे बराबर-बराबर बाँटते समय उनमें झगड़ा हो गया| एक कहती थी कि तुम्हारी रोटी का टुकड़ा बड़ा है और दूसरी कहती थी कि मेरा टुकड़ा बड़ा नहीं है|