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मुल्ला दोप्याजा की काफी उम्र हो गई थी किन्तु उसने विवाह नहीं किया था| एक दिन बादशाह अकबर ने मुल्ला दोप्याजा से कहा -“मुल्लाजी, अब आपको शादी कर लेनी चाहिए|”

इसमें विटामिन-ए, बी और सी प्रमुख रूप से होते हैं| कच्चा खाने पर इसका स्वाद मीठा लगता है| यह पाचन-क्रिया को बढ़ाने वाला है| वात और कफ में भी अत्यन्त लाभकारी है| हृदय की दुर्बलता को भी दूर करने में यह सहायता प्रदान करता है| जिन लोगों में विटामिन-बी की कमी हो, उन्हें शलजम अवश्य ही प्रयोग करना चाहिए| इसकी सब्जी खाना भी लाभदायक है|