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एक राजा समय-समय पर प्रतियोगिताएं आयोजित करवाता और विजेता को सम्मान सहित पारितोषिक भी देता। प्रजा इससे उत्साहित रहती थी। एक बार उसने राजपुरुष के चयन की प्रतियोगिता रखी। उसने एक वाटिका बनवाई जिसमें हर तरह की वस्तुएं रखी गईं। लेकिन उन पर उनका मूल्य नहीं लिखा था।

एक खरगोश बेहद आलसी और कामचोर था| एक बार वह पेड़ के नीचे बैठा था| वही एक डंडा भी पड़ा था| खरगोश ने वह डंडा उठा लिया और उसे ज़मीन पर मारने लगा| ज़मीन पर डंडा मारते हुए वह सोच रहा था कि काश मुझे ढेर सारी गाजरें मिल जाती|

भारत के संत स्वामी विवेकानंद ‘विश्व धर्म’ सम्मेलन में भाग लेने अमेरिका पहुँचे| वह सादे वस्त्रों में एकाकी एक बगीचे में बैठे थे कि एक भद्र अमेरिकी महिला उनके पास पहुँची| वह थोड़ी ही बातचीत से प्रभावित हो उठी|