श्रीरामभक्त विभीषण – रामायण
महर्षि विश्रवाको असुर कन्या कैकसीके संयोगसे तीन पुत्र हुए – रावण, कुम्भकर्ण और विभीषण| विभीषण विश्रवाके सबसे छोटे पुत्र थे|बचपनसे ही इनकी धर्माचरणमें रुचि थी| ये भगवान् के परम भक्त थे|
महर्षि विश्रवाको असुर कन्या कैकसीके संयोगसे तीन पुत्र हुए – रावण, कुम्भकर्ण और विभीषण| विभीषण विश्रवाके सबसे छोटे पुत्र थे|बचपनसे ही इनकी धर्माचरणमें रुचि थी| ये भगवान् के परम भक्त थे|
“Dhritarashtra said, ‘That which thou tellest me, O Suta, about thebattle, fierce and terrible, between the one and the many, and thevictory of that illustrious one, that story of the prowess of Subhadra’sson is highly wonderful and almost incredible.
“Vaisampayana said, ‘Then, O Janamejaya, the son of Pandu started fromthe river Kausiki and repaired in succession to all the sacred shrines.
“Janamejaya said, ‘O puissant Rishi, kings are attached to sacrifices.The great Rishis are attached to penances. Learned Brahmanas areobservant of tranquillity of mind, peacefulness of behaviour, andself-restraint.
बादशाह अकबर और बीरबल बातें कर रहे थे| बात मियां-बीवी के रिश्ते पर चल निकली तो बीरबल ने कहा – “अधिकतर मर्द जोरू के गुलाम होते हैं और अपनी बीवी से डरते हैं|”
1 And Moses went up from the plains of Moab unto mount Nebo, to the top of Pisgah, that is over against Jericho. And Jehovah showed him all the land of Gilead, unto Dan,
नंद बाबाजी को छैया वाको नाम है कन्हैया .
कन्हैया कन्हैया रे ..