आलस का नतीजा बुरा
किसी गांव में एक ब्राह्मण रहा करता था| वह बड़ा भला आदमी था, लेकिन साथ ही काम को टाला करता था| वह यह मानकर चलता था कि जो कुछ होता है, भाग्य से होता है, वह अपने हाथ-पैर नहीं हिलाता था|
किसी गांव में एक ब्राह्मण रहा करता था| वह बड़ा भला आदमी था, लेकिन साथ ही काम को टाला करता था| वह यह मानकर चलता था कि जो कुछ होता है, भाग्य से होता है, वह अपने हाथ-पैर नहीं हिलाता था|
“Yudhishthira said, ‘After doing what acts does a man become liable toperform expiation? And what are those acts which he must do for beingfreed from sin? Tell me this, O grandsire.’
राजकुमार सिद्धार्थ सुंदरी पत्नी यशोधरा, दूध पीते बालक राहुल और कपिलवस्तु का राजपाट त्यागकर तपस्या के लिए चल पड़े|
1 [धृ]
अनीश्वरॊ ऽयं पुरुषॊ भवाभवे; सूत्रप्रॊता दारुमयीव यॊषा
धात्रा हि दिष्टस्य वशे किलायं; तस्माद वद तवं शरवणे घृतॊ ऽहम
“Markandeya said, “Then Prahasta, suddenly advancing up to Vibhishana anduttering a loud yell, struck him with his mace.
जग मे सुंदर हैं दो नाम चाहे कृष्ण कहो या राम (३)
बोलो राम राम राम, बोलो शाम शाम श्याम (३)
“Bhishma said, ‘From the attribute of Passion arises delusion or loss ofjudgment. From the attribute of Darkness, O bull of Bharata’s race, arisewrath and cupidity and fear and pride.
Sanjaya said, “And Drona’s son, and Bhurisravas, and Chitrasena, O sire,and the son of Samyamani also, all fought with Subhadra’s son.
एक दार्शनिक ने पढ़ा- वास्तव में सौंदर्य ही विश्व की सबसे बड़ी विभूति है। भक्ति, ज्ञान, कर्म और उपासना आदि परमात्मा को पाने के तुच्छ मार्ग हैं। सही मार्ग तो सौंदर्य ही है।
“Dhritarashtra said, ‘O best of kings, thou shouldst also reflectproperly on war and peace. Each is of two kinds.